Followers

Sunday, 13 August 2023

आमुक्ति का करिश्मा: पिशाचलोक के दर्शन: भाग २

     


कृपया, पूरी कथा पढ़ने के लिए अनुक्रम पर जाए|


आमुक्ति ने कहा, “जो मैंने सहा वो कदाचित कोई भरोसा नहीं रखेगा| क्यों की घटना सौ साल पहले हुई हैं और उसके बारे में कही कुछ भी सही से नहीं लिखा हैं| उस समय मारे गए कई लोग आज भी न्याय की राह देख रहे हैं जो कदाचित होना ही नहीं हैं| पर तुम उसपर तो भरोसा रख सकती हो न जो अभी हुआ हैं?”

सीमा ने कहा, “क्या हुआ हैं अभी?”

आमुक्ति ने कहा, “कई घटनाएं हुई हैं| कई लडकिया पिशाच लोक में आये दिन आती हैं| अभी कुछ दिन पहले एक लड़की आई थी| बिलकुल तुम्हारी तरह पढ़ी लिखी थी| नौकरी कर रही थी| उसे भी एक दरिन्दे से प्यार हुआ था| दोनों बिना शादी के साथ रह रहे थे| लड़का उसे बार-बार अपना धर्म छोड़ने के लिए कह रहा था| लड़की मानी नहीं|” 


लेखिका: रिंकू ताई

कृपया, पूरी कथा पढ़ने के लिए अनुक्रम पर जाए|


 

No comments:

Post a Comment

सवेरे उठी काम काम काम….

कभी ना लिया शिव का नाम लिरिक्स कभी ना लिया शिव का नाम, सवेरे उठी काम काम काम, कभी ना लिया हरी नाम, सवेरे उठी काम काम काम..... हमरे द्वारे पे...